देश तभी बचेगा जब युवा पीढ़ी नशे से बचेगी आतंकवाद को सबसे अधिक फंडिंग नशे से होती है: जोशी

देहरादून। उत्तराखण्ड राज्य एवं प्रौद्योगिकी परिषद (यूकॉस्ट) द्वारा आंचलिक विज्ञान केन्द्र में तीन दिवसीय नवाचार उत्सव का शुभारंभ हो गया है। इसका मुख्य विषय विकसित भारत के लिए स्वदेशी तकनीक रखा गया है।महोत्सव के प्रथम दिन समाज में बढ़े रहे नशे की समस्या पर संवाद सत्र का आयोजन किया गया। जिसका उद्देश्य युवाओं को जाग्रित कर विज्ञान एवं नवाचार से जोड़ना है। सत्र को सीआईएमएस एंड यूआईएचएमटी ग्रुप ऑफ कॉलेज के चेयरमैन एडवोकेट ललित मोहन जोशी संबोधित किया। उन्होंने इस विषय पर विभिन्न कॉलेजों से आए युवाओं से संवाद करते हुए कहा कि नशे ने आज सबसे अधिक हमारे युवाओं को प्रभावित किया है। कुछ युवा साथी दोस्तों के बीच अपने को अलग दिखाने के चलते गलत आदतें अपना लेते हैं, लेकिन जब उन्हें इसका अहसास होता है तब तक बहुत देर हो चुकी होती है।ललित जोशी ने कहा कि युवाओं को नशा करना ही है तो वह खेल व विज्ञान का करें। खेलों से उनकी सेहत अच्छी रहेगी तो वहीं विज्ञान के साथ जुड़कर वह समाज में नवाचार के क्षेत्र में काम कर सकेंगे। उन्होंने कहा कि आज के युवाओं को अपनी जड़ों से जोड़े जाने की जरूरत है, जड़ों से जुड़कर ही युवा अपने माता-पिता के संस्कारों को अपनाकर सही दिशा में आगे बढेंगे।सीआईएमएस एंड यूआईएचएमटी ग्रुप ऑफ कॉलेज देहरादून के चेयरमैन ललित मोहन जोशी सजग इंडिया के माध्यम से विगत 15 से अधिक वर्षों से नशा उन्मूलन को लेकर प्रयासरत हैं, 2005 में हल्द्वानी से उन्होंने इस अभियान शुरूआत की थी, और अब तक लाखों युवाओं को नशे के खिलाफ जागरूक कर चुके हैं। युवा संवाद कार्यक्रम के जरिए वह 1500 से अधिक स्कूलों में 7.50 लाख से अधिक छात्र-छात्राओं से सीधा संवाद कर चुके हैं।कार्यक्रम में गढ़वाल विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो. एसपी सिंह,वाडिया भूविज्ञान संस्थान के निदेशक डॉ. कलाचन्द सांई, यूकॉस्ट के संयुक्त निदेशक डॉ. डीपी उनियाल, जीएस रौतेला,यूकोस्ट के महानिदेशक प्रो. दुर्गेश पंत, डॉ. सोनल कौशल गुप्ता, टेक्नो हब लेबोट्री की निदेशक डा रीमा पंत, डॉ. अक्षय द्विवेदी, आईआईटी रूड़की से डॉ. नितिन मौर्या सहित सैकड़ों छात्र छात्रायें उपस्थित रहे।

By admin

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *